वीटीआर के मदनपुर जंगल में लगी भीषण आग,धू धू कर जल गए वन सम्पदा।


जानवरों की आशियाना बेंत की झाड़ी में आग लगने से वन्यजीव हो रहें प्रभावित।

मदनपुर वनक्षेत्र के आधा दर्जन वन उपखंड के जंगल में लगी आग से जल गया जंगल।
तेज पछुआ हवा में वनकर्मियों को आग बुझाने में हो गई है परेशानी।
वाल्मीकि टाइगर रिजर्व की वन प्रमंडल दो कि मदनपुर वन क्षेत्र के जंगल में सोमवार की सुबह से आधा दर्जन वन उपखंड के जंगल में भीषण आग लगने से धू-धू कर जंगल जल रहे हैं। आग से वन संपदाओं, पेड़ पौधों को भारी नुकसान पहुंच गया है। जानवरों का आशियाना के रूप में चर्चित बेंत की झाड़ी तथा छोटे-छोटे पेड़ पौधे जलकर नष्ट हो गए हैं‌।कई वन उपखंड में लगी आग अभी एक जंगल से दूसरे जंगल में फैल रही है। तेज पछुआ हवा के कारण जंगल में लगी आग को बुझाने में वनकर्मियों को भारी परेशानी बढ़ गई है। तेज हवा के कारण आग एक जंगल से दूसरे जंगल में तेजी से फैलता जा रहा है। वन कर्मियों ने बड़ी मशक्कत से आग पर कुछ वनउपखंड के जंगल में काबू पा लिया है। लेकिन एक जगह आग बुझाने में फिर दूसरे जगह के जंगल में आग लग जा रहा है।शनिवार को भी मदनपुर वन क्षेत्र के कक्ष संख्या 2,3,4,5,6 समेत आधा दर्जन वन उपखंड के जंगल में भीषण आग लग गई थी। वह आग इतना तेज था कि रात भर धू धू कर जंगल जलता रहा आग बुझाने के लिए तैनात वनकर्मियों की टीम बड़ी मशक्कत से आग पर काबू पा लिया। लेकिन सोमवार की सुबह से मदनपुर वन क्षेत्र के 7, 8, 9 से 11 और नौरंगिया वन परिसर के जंगल में आग लग जाने से वन कर्मियों की परेशानी बढ़ गई है। संवाद प्रेषण तक मदनपुर वन क्षेत्र के जंगल में लगी आग से जंगल धू-धू कर जल रहे थे। हालांकि आग बुझाने में वन कर्मियों की टीम लगी है इस संबंध में पूछे जाने पर मदनपुर वन क्षेत्र के प्रभारी वन क्षेत्राधिकारी अवधेश प्रसाद सिंह ने बताया कि वनक्षेत्रों में आग बुझाने के लिए फायर वाचरों और अन्य वन कर्मियों की टीम को लगाया गया है। आग बुझाने के लिए आवश्यक दिशा निर्देश दे दिए गए हैं। तेज हवा के कारण आग बुझाने में वन कर्मियों को कुछ परेशानी हो रही है। वन क्षेत्र अधिकारी ने बताया कि आग से कितना जंगल जला है। इसकी आकलन कराई जा रही है। जांच और आकलन करने के बाद ही स्पष्ट होगा कि कितना जंगल क्षेत्र का दायरा आग से जलकर बर्बाद हुआ है। उन्होंने बताया कि आग लगाने वाले तत्वों की पहचान कर वाली लाई एक्ट के तहत कार्रवाई करने के लिए वन क्षेत्र के वन कर्मियों को आवश्यक आदेश दिए गए हैं। मालूम हो कि इस वन क्षेत्र में कुछ नए वनकर्मियों की टीम द्वारा समय-समय पर गश्त तथा निगरानी नहीं करने के कारण ही इस वन क्षेत्र के उपखंडों में आग लगने की घटनाएं तेज हो गई है। कोरोना के डर से नए वनकर्मियों की टीम जंगल में जाने से कतरा ने लगे हैं। और लापरवाही बरत रहे हैं।
रिपोर्ट तेज़थिंक न्यूज़
चन्द्र भूषण शांडिल्य/ बगहा चंपारण